विविधता में एकता: विविधता में एकता कक्षा 6 के अध्याय एक में आप यह समझेंगे की विविधता क्या है? विविधता के लाभ क्या है? विविधता के कारण क्या है? भारत में विविधता तथा विविधता में एकता क्या है? इसके साथ ही आप NCERT के अभ्यास प्रश्न उत्तर भी दिए गए है। 

Class 6 Political Science


विषय वस्तु 

  • विविधता 
  • विविधता के लाभ
  • विविधता के कारण 
  • भारत में विविधता 
  • विविधता में एकता 
  • रोचक तथ्य 

विविधता 

विविधता से हमारा अभिप्राय लोगों के बीच धार्मिक, जातीय, क्षेत्रीय, भाषाई, खान-पान, पहनावा आदि के आधार पर मौजूद भिन्नता से है। 
कोई एक आदमी एक धर्म को मानता है तो दूसरा कोई और धर्म को। अलग-अलग प्रकार के लोग अलग -अलग भाषाएं बोलते है। यहाँ तक की एक ही भाषा बोलने वालों के उच्चारण भी अलग- अलग होते है। खान-पान में भी विवधता देखने को मिलती है। कुछ लोग शाकाहारी भोजन करते है तो कुछ लोग मांसाहारी। 

विविधता के लाभ 

  • विविधता हमारे जीवन में कई रंग लाते है। 
  • विवधता से हम विभिन पहलुओ तथा विभिन्न संस्कृतियों का आदर करना सीखते है। 
  • विविधता हमे विभिन्न परिप्रेक्ष्य से सोचना सिखाती है। 
  • विविधता के बिना जिंदगी नीरस होगी। 
विविधता के कारण  

विविधता मुख्यतः दो कारण होती है:

1. भौगोलिक कारक: हमारी भौगोलिक स्थिति यह निर्धारित करती है कि हम कैसे दिखेंगे, किस प्रकार के कपड़े पहनेंगे, किस प्रकार के भोजन करेंगे आदि। उदाहरण के लिए- जम्मू और कश्मीर हिमालय के निकट होने के कारण एक ठंडे वातावरण का जगह के इसलिए वहाँ के लोग गरम कपड़े पहनते है, गौरे और लंबे होते है जबकि दक्षित भारत की जलवायु गरम होती है इसलिए वह के लोग काले और माध्यम आकार के होते है तथा वहाँ के लोग अधिकतर चावल का सेवन करते है। 

2. ऐतिहासिक कारक: प्राचीन कल से लोग एक जगह से दूसरे जगह यात्रा करते चले आ रहे है तथा अपने साथ अपने वस्त्र, भोजन, संस्कृति, धर्म आदि भी लेकर दूसरी जगह यात्रा करते रहते थे। जिस जगह पर ये यात्री ठहरते थे वह के स्थानीय लोग उनके जीवन जीने के तरीकों को अपनाने लगे। इस प्रकार लोग नए प्रकार की वस्तुओ तथा भोजन, संस्कृति आदि का प्रयोग करने लगे। बहुत सारे लोगों से नए धर्म को भी अपना लिया। 

भारत में विविधता 

भारत विविधताओ वाला देश है। भारत में रहने वाले लगभग हर प्रमुख धर्म का पालन करने वाले है। विभिन्न धर्मों के मानने वाले एक दूसरे से कई मायनों में भिन्न होते हैं जैसे कि रीति-रिवाज, त्योहार, मान्यताएं, भोजन, पारंपरिक कपड़े आदि। भारत में विविधता के उदाहरण:
  • दुनिया में 8 प्रमुख धर्म है और इन सभी धर्मों को अनुयायी भारत में रहते है।
  • 1600 से ज्यादा भाषाएं भारत में बोली जाती है।
  • 100 से अधिक प्रकार की नृत्य भारत में की जाती है।

विविधता में एकता

'विविधता में एकता' शब्द का प्रयोग सबसे पहले जवाहरलाल नेहरू ने किया था। उन्होंने इस शब्द का प्रयोग इसलिए किया क्योंकि विविधता हमारे देश के लिए ताकत साबित हुई। अंग्रेज जब भारत आए थे तो उन्होंने सोचा की भारत जैसे विविधता वाले देश में शासन करना आसान होगा इसलिए उन्होंने 'फुट डालों और राज करो' की नीति का प्रयोग किया। परंतु भारतीयों ने अपनी धार्मिक और संस्कृतिक विभिन्नताओ को भूलकर एक साथ मिलके अंग्रेजों का विरोध किया। विविधता में एकता के कारण ही हम अंग्रेजों को भारत से जड़ से उखाड़ फैंकने में सफल हो पाए।

जवाहरलाल नेहरू द्वारा लिखी गई किताब 'भारत की खोज' में उन्होंने लिखा है कि भारतीय एकता बाहर से थोपी नहीं गई है बल्कि भारतीय के अंदर यह बहुत गहरा है जिसके भीतर विभिन्न मान्यताओं और प्रथाओं की स्वीकृति की भावना है।

रोचक तथ्य

  1. Indian People's Theatre Association 1943 में बॉम्बई में स्थापित किया गया था। इसे संक्षेप में इप्टा कहा जाता है जिसका नाम होमी जहांगीर भाभा द्वारा रखा गया था।
  2. भारतीय राष्ट्रीय गान जन, गण, मन को 24 जनवरी 1950 को संविधान सभा द्वारा मान्यता दिया गया था।
  3. जन, जन, मन बंगाली भाषा में राबीन्द्रनाथ टैगोर द्वारा रचा गया था।
  4. रवीन्द्रनाथ टैगोर द्वारा रचित हमारा राष्ट्रीय गान भारतीय एकता की एक अभिव्यक्ति है।

अभ्यास 

Q.1. अपने इलाके में मनाए जाने वाले विभिन्न त्योहारों की सूची बनाइये। इनमे से कौन- से त्योहार सभी समुदायों द्वारा मनाए जाते है?
Ans: मेरे इलाके में मनाए जाने वाले विभिन्न त्योहरो की सूची: 
  1. छठ पूजा
  2. होली 
  3. दिवाली 
  4. जन्माष्टमी 
  5. दशहरा 
  6. रामनवमी 
  7. बैशाखी 
  8. दुर्गा पूजा 
  9. रक्षाबंधन 
  10. लोहड़ी 
  11. तीज 
  12. क्रिसमस 
  13. ईद 
  14. ताजिया 
  15. मोहरम 
  16. गुरु पर्णिमा आदि। 
सभी समुदायों द्वारा मनाया जाने वाला पर्व:
  • दिवाली 
  • होली
इसके अतिरिक्त हमारे राष्ट्रीय त्योहार जैसे कि गणतंत्र दिवस (26 जनवरी), स्वतंत्रता दिवस (15 अगस्त), गांधी जयंती ( 2 ऑकतूबर) आदि सभी समुदयो द्वारा मनाया जाता है। 

Q.2. आपके विचार में भारत की समृद्ध एवं विवध विरासत आपके जीवन को कैसे बेहतर बनाती है?
Ans: भारत विविधताओ का देश है और इन विविधताओ में भी एकता पाई जाती है तथा यही एकता भारत को समृद्ध बनाती है।
भारत की समृद्ध एवं विविध विरासत हमारे जीवन को निम्न तरीकों से बेहतर बनाती है:
ये हमे विभिन्न रंग रूप, पहनावा- औढ़ावा, खान-पान, जाती- धर्म, भाषा, क्षेत्र आदि से परिचित कराती  है जिससे केवल एक ही प्रकार की चीजों को जानने, समझने तथा मानने से जो जीवन में नीरसता आती है उससे हम बच जाते है और हमे एक एक बेहतर जिंदगी जीने का अवसर मिलता है। 

Q.3. आपके अनुसार 'अनेकता में एकता' का विचार भारत के लिए कैसे उपयुक्त है? भारत की खोज किताब से लिए गए इस वाक्यांश में नेहरू में भारत की एकता के बारे में क्या कहना चाह रहे है? 
Ans: भारत में 'अनेकता में एकता' का विचार भारत के लिए उपयुक्त है क्योंकि भारत एक विविधताओ वाला देश है जहां विविध प्रकार के लोग रहते है परंतु फिर भी यहाँ एकता है। 
'भारत की खोज' किताब में नेहरू जी कहना चाह रहे है कि भारत की एकता कोई बाहर से थोपी गई चीज नहीं है बल्कि यह बहुत गहरा है जिसके अंदर हम भारतीयों में विभिन्न मान्यताओ और प्रथाओ को स्वीकार करने की भावना है। 'विविधता में एकता' शब्द सबसे पहले जवाहरलाल नेहरू द्वारा ही प्रयोग किया गया था। विविधता में एकता शब्द के जगह पर अनेकता में एकता शब्द का प्रयोग भी किया जा सकता है। 

Q.4. जालियावाला बाग हत्याकांड के ऊपर लिखे गए गाने की उस पंक्ति को चुनिये जो आपके अनुसार भारत की एकता को निश्चित रूप से झलकाती है?
Ans: जालियावाला बाग हत्याकांड के ऊपर लिखे गए गाने की वह पंक्ति जो मेरे अनुसार भारत की एकता क झलकाती है: 

"हिन्दु 'ओ' मुस्लिमों की, होती है आज होली  
बहते है एक रंग में, दामन भिगो के जाना "
दिन खून के हमारे, प्यारे  भूल जाना 

Q.5. लद्दाख एवं केरल की तरह भारत का कोई एक क्षेत्र चुनिये और अध्ययन कीजिए की कैसे उस क्षेत्र की विविधता को ऐतिहासिक और भौगोलिक कारकों मे प्रभावित किया है? क्या ये ऐतिहासिक एवं भौगोलिक कारक आपस में जुड़े हुए हो। कैसे?
Ans: हम महाराष्ट्र का उदाहरण लेते हैं। इसकी विविधता को निम्नलिखित ऐतिहासिक तथा भौगोलिक कारकों ने प्रभावित किया है -  

ऐतिहासिक कारक :  

  •  विदेशी व्यापारियों का आगमन तथा विदेशों के साथ व्यापार।
  • मुंबई के समुद्री पतन से भारत के आंतरिक भागों के माल का विदेशों में जाना विदेशी माल का आयात।

भौगोलिक कारक :

  • पठारी उच्चावच जैसे - कोंकण 
  • सम जलवायु - तापमान लगभग सारा साल ऊंचा ,पर्याप्त वर्षा। 
  • कम वन क्षेत्र कृषि का विस्तार - चावल , कपास, गन्ना तथा गेहूं मुख्य फसलें।  

यह भौगोलिक तथा ऐतिहासिक कारक आपस में पूरी तरह जुड़े हुए हैं। उदाहरण के लिए यहां की कपास की खेती तथा आर्द्र जलवायु ने महाराष्ट्र विशेषकर मुंबई को सूती वस्त्र उद्योग का बहुत बड़ा केंद्र बना दिया है । सूती वस्त्र लंबे समय तक महाराज के व्यापार का आधार रहा है।  


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